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UP का एक ऐसा थाना जहां सालभर में होती थी 54 करोड़ की वसूली, अफसर ने मारा छापा, कारनामा जान रह गए दंग

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वाराणसी. UP-बिहार सीमा पर बलिया जिले के नरही थाना क्षेत्र में चल रहे अवैध वसूली के काले कारनामे का सफेद सच सुनकर आप चौक जाएंगे. अब तक कि जानकारी के अनुसार इस थाना में एक दिन में करीब 15 लाख रुपए ट्रकों से वसूली की जाती थी. अर्थात एक माह में 4.5 करोड़ और साल भर में 54 करोड़ रुपए की अवैध वसूली होती थी। पूर्वांचल ही नहीं UP के सबसे वसूली वाले थाने में एक था बलिया का नरही थाना. इस पूरे वसूली के नेटवर्क को वाराणसी जोन के ADG और तेज तर्रार IPS पीयूष मोर्डिया ने आजमगढ़ के DIG वैभव कृष्ण के साथ मिलकर ध्वस्त किया.

ऐसे पूरा हुआ ऑपरेशन

कई दिनों से पुलिस (Police) को शिकायत मिल रही थी कि बलिया के नरही थाना क्षेत्र के भरौली तिराहे के पास से वसूली का पूरा गैंग चलता है. पुलिस (Police) की सरपरस्ती में दलाल ट्रकों से वसूली करते हैं. मिनिमम 500 रुपये ट्रक वसूला जाता है जिसमें 400 रुपये नरही थाना अध्यक्ष पन्नेलाल को जाते थे और 100 रुपया दलाल रखते थे. नया पुल बनने के बाद रोजाना करीब तीन हजार ट्रक गुजरते थे. इसमें सबसे ज्यादा लाल बालू के ट्रक होते थे.

बाकी इसी रास्ते पशु तस्करी और शराब तस्करी भी होती थी. इस इनपुट के बाद पहले जानकारी जुटाई गई और फिर 22 पुलिसकर्मियों को मिलाकर पांच टीम बनी. बुधवार रात करीब 9:00 बजे वाराणसी जोन के एडीजी पीयूष मोर्डिया वाराणसी से दो टीम लेकर बलिया के लिए निकले तो डीआईजी आजमगढ़ वैभव कृष्ण तीन टीमों के साथ आजमगढ़ से बलिया निकले. रात करीब 1:00 बजे सभी भरौली तिराहे पहुंचे और उनके सामने ही वसूली का यह खेल चल रहा था लेकिन प्लान के मुताबिक अभी कोई एक्शन नहीं लेना था.

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सिपाही वसूल रहा था ट्रक से पैसे

पूरी टीम वसूली को अपने आंखों से देखते हुए गंगा पुल से होते हुए बिहार के बक्सर पहुंची. गंगा नदी पर बना ये नया पुल एक तरफ बलिया तो दूसरी तरफ बक्सर को जोड़ता है. बक्सर पहुंचने के बाद टीम ने वहां का मुआयना किया और उसके बाद फिर हुई एक्शन की शुरुआत. टीम वापस उसी पुल पर लौटी और देखा कि भरौली तिराहे पर एक सिपाही ट्रक से पैसे वसूल रहा है. टीम ने सिपाही को पकड़ा और पूछताछ की. सिपाही ने बताया कि भरौली तिराहे से गाजीपुर की रोड पर कोरंटाडीहा पुलिस चौकी पर भी वसूली होती है. यह पूरी चौकी भी नरही थाने के अंतर्गत आती है. इसके बाद गाड़ियों को छोड़कर एडीजी पीयूष मोर्डिया, डीआईजी वैभव कृष्ण और एक इंस्पेक्टर ट्रक में खलासी बनकर बैठ गए.

तीन पुलिसकर्मी समेत 16 लोग पकड़े गए

करीब 5 KM बाद जब कोरंटाडीहा पुलिस चौकी आई और उनका ट्रक बैरियर पर रोका गया तो दो सादा कपड़ों में तैनात लोगों ने उनसे भी 500 रुपये की मांग की. इसके बाद ट्रक से कूद कर एडीजी, डीआईजी और इंस्पेक्टर ने दोनों को पकड़ लिया और उसके बाद ताबड़तोड़ चौकी से लेकर भरौली तिराहे तक से गिरफ्तारियां हुईं. इसमें तीन पुलिसकर्मी समेत 16 लोग पकड़े गए. सभी को थाने लाया गया. नरही थाना अध्यक्ष पन्नेलाल थाने पर नहीं मिले. उनका कमरा सील कर दिया गया. थाना अध्यक्ष फिलहाल फरार हैं.

इस वसूली में शामिल सिपाहियों के भी बक्से की तलाशी ली गई. पुलिस को वसूली से जुड़ा रजिस्टर भी मिला है. सुनकर चौंक जाएंगे नरही थाना अध्यक्ष पन्नेलाल इस थाने पर दो साल साल से अधिक समय तक तैनात है जबकि इन दो साल में बलिया के कप्तान एडिशनल SP, सीओ और कई थानेदार बदल गए लेकिन पन्नेलाल इतने काबिल थानेदार थे कि वो बदले नहीं गए. सवाल परिवहन विभाग पर भी उठता है कि जिस खेल के बारे में बलिया का बच्चा-बच्चा परिचित था, उसकी भनक परिवहन विभाग को क्यों नहीं लगी. जिस दिन पुलिस कार्रवाई हुई, उस दिन परिवहन विभाग में भी छापा मारा गया. तीन संविदा कर्मचारी और तीन दलाल तक कार्रवाई फिलहाल सिमटी हुई है.

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